अंबेडकरनगर । जलालपुर तहसील का अजई गांव इस समय सुर्खियों में है । प्रशासन ने यहां के अतिक्रमण पर बुलडोजर चलाया तो सपा सुप्रीमों अखिलेश यादव ने हाय तौबा मचा दी । अखिलेश यादव ने दस सेकंड का एक वीडियो शेयर करते हुए लिखा है कि प्रशासनिक अधिकारी अपनी शान दिखाने के लिए झोपड़ियां गिरा रहा है , और बच्ची अपनी किताबे बचाने के लिए भाग रही है । इस ट्वीट के बाद सियासी गलियारों में हलचल मच गई । विपक्ष के नेताओं ने एक आईएएस का नाम उछालना शुरू कर दिया । बुलडोजर पर अखिलेश यादव का ट्वीट और इस पूरे मुद्दे से आईएएस अधिकारी के कनेक्शन की हकीकत जानने के लिए ईटीवी भारतवर्ष की टीम अजई पुर गांव पहुंची । देखिए ये रिपोर्ट….
पहले तो आप ये जान लीजिए कि पूरा मामला क्या है ? दरअसल इस गांव के एक छोर पर कुछ सरकारी जमीन है । इसी जमीन पर एक देव स्थान है । जहां पर ग्रामीण पूजा अर्चन करते हैं । इसी जमीन पर राम मिलन यादव और कुछ अन्य लोगों का कब्जा है । ये लोग छप्पर रख कर इस जमीन पर काफी दिनों से कब्जा जमाए हैं । इस जमीन से अवैध कब्जा हटाने के लिए ग्रामीणों ने प्रशासन से शिकायत की । बताया जा रहा है कि तकरीबन तीन साल पहले भी प्रशासन ने इस जमीन से बेखली की कार्रवाई की थी । राम मिलन यादव इस मामले को लेकर हाईकोर्ट भी गए थे लेकिन वहां भी राहत नहीं मिली । इस बेदखली के कार्रवाई की पुष्टि स्वयं राम मिलन यादव ने भी किया है ।
कुछ दिनों बाद दोबारा इस पर कब्जा कर लिया गया । ग्रामीणों ने जब दोबारा प्रशासन का सहारा लिया तो तारीख 10-10-24 को तहसीलदार ने धारा 67 में बेदखली आदेश पारित किया। जिसके बाद राम मिलन ने वाज दायरा लगाया। दिनांक 17-10-24 को राम मिलन ने बाज दायरा दाखिल किया। दिनांक 28-01-25 को बाज दायरा तहसीलदार कोर्ट से खारिज हो गया। दिनांक18-03 -25 को तहसीलदार ने अतिक्रमण हटाने की तिथि 21-03-25 नियत की। और इसी दिन प्रशासन बुलडोजर लेकर अतिक्रमण हटा रहा था कि हंगामा खड़ा हो गया । इस दौरान एक छप्पर में आग लगने की भी खबर आई लेकिन आग किसने लगाई किसी को नहीं पता । हैरान करने वाली बात है कि कब्जेदार और प्रशासन वहां मौजूद थे लेकिन इसकी जानकारी दोनो को ही नही है । इसी दौरान एक छोटी सी बच्ची अपना बैग लेकर भागने लगी जिसका वीडियो वायरल हो रहा है । जिस छप्पर से बच्ची बैग लेकर भाग रही है वह छप्पर अब भी वैसे ही है । इस पर कोई कार्रवाई नहीं हुई है ।
अतिक्रमण पर प्रशासन की कार्रवाई से क्या है आईएएस अधिकारी का कनेक्शन? प्रशासन ने जब अतिक्रमण पर कार्रवाई शुरू की तो सियासत भी गरमाने लगी । कांग्रेस जिला अध्यक्ष कृष्ण कुमार यादव सरकारी जमीन पर कब्जा करने वाले राम मिलन यादव के घर पहुंच गए । इस दौरान उन्होंने आरोप लगाया कि गांव के ही आईएएस अधिकारी दिव्यांशू पटेल के इशारे पर ही प्रशासन ये कार्रवाई कर रहा है । लेकिन गांव में पहुंच कर जब ईटीवी भारत की टीम ने हकीकत जाना तो मामला कुछ और ही निकल कर आया । जिस जमीन से कब्जा हटाया जा रहा था उस पर अवैध कब्जा था इसकी पुष्टि अंबेडकरनगर के डीएम अविनाश सिंह भी कर चुके हैं । 3/10/2024 को लिखे एक पत्र के मुताबिक राम मिलन का कब्जा अवैध है लेकिन मामला न्यायालय में विचाराधीन था इस लिए कार्रवाई नहीं हुई । आईएएस दिव्यांशु पटेल से रिश्तों को लेकर जब राम मिलन यादव से पूछा गया तो उन्होंने कहा कि हमारी उनसे कोई रंजिश नही है । लोग केवल अफवाह फैला रहे हैं ।
हमारी टीम ने कुछ ग्रामीणों से भी बात किया तो उन लोगों ने बताया कि इस जमीन पर लोग अवैध कब्जा किए हुए हैं । प्रशासन इस कब्जे को हटवा रही है । विपक्ष के कुछ नेता सरकार को बदनाम करने की साजिश कर रहे हैं ।
जलालपुर के एसडीएम पवन जायसवाल ने बताया कि प्रशासन सिर्फ अतिक्रमण को हटा रहा है । इसमें किसी भी अधिकारी की कोई भूमिका नहीं है ।
अब क्या करेंगे अखिलेश यादव ? पूरी हकीकत सामने आने के बाद अब सपा सुप्रीमों क्या करेंगे । विपक्ष के नेता जो एक आईएएस का नाम लेकर मामले को तूल दे रहे थे अब वे क्या करेंगे । सियासत चमकाने के लिए एक आईएएस अधिकारी का नाम उछलना कहां तक सही है । क्या दिव्यांशु को इस गुनाह की सजा मिल रही है कि वे इस गांव के निवासी हैं ।ग्रामीणों का कहना है कि जब से दिव्यांशु आईएएस हुए हैं तब से इस गांव के विकास में बहुत काम हुआ है ।